गोरखपुर–दिनाँक-25/02/2022
माफिया-अपराधियों को संरक्षण देना समाजवादी पार्टी की मूल नीति–पूर्व डीजीपी बृजलाल
आज गोरखपुर में पूर्व डीजीपी ने प्रेस कांफ्रेंस में मीडिया से कहा कि विकास का महत्व तभी है– जब कानून व्यवस्था ठीक हो, ,उन्होंने कहा कि योगी आदित्यनाथ ने उत्तर प्रदेश का सर्वागीण विकास करने के साथ ही लोगों में यह विश्वास भी जगाया कि उनके शासन में सभी लोग सुरक्षित है। उक्त बातें राज्यसभा सदस्य एवं उत्तर प्रदेश के पूर्व पुलिस महानिदेशक बृजलाल ने एक प्रेस कांफ्रेंस में गोरखपुर में मीडियाकर्मियों से बातचीत करते हुए कही।
उन्होनें समाजवादी पार्टी पर हमला बोलते हुए कहा कि आतंकियों की पैरवी और माफिया-अपराधियों को संरक्षण देना सपा की मूल नीति रही है। पूर्व के सपा सरकार में निर्दोषों की जान लेने वाले आतंकवादियों को छुड़ाने के लिए कोर्ट में पैरवी करने और माफिया को माननीय बनाने के अनेक तथ्य इसकी तस्दीक करते हैं। उन्होंने कहा कि अपने 37 वर्ष से अधिक पुलिस सेवा में उन्होंने पहली बार अपराधियों पर कठोरतम कार्रवाई मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ के शासन में देखी है। सीएम ने सुरक्षा का माहौल बनाया तो यूपी में विकास की गंगा बहने लगी है।
पूर्व डीजीपी व राज्यसभा सांसद ने 31 दिसम्बर 2007 को रामपुर सीआरपीएफ के ग्रुप सेंटर पर हुए आतंकी हमले, मई 2007 के गोरखपुर सीरियल ब्लास्ट, 23 नवम्बर 2007 को लखनऊ, वाराणसी व अयोध्या कचहरी के बम ब्लास्ट, संकटमोचन मंदिर, शीतलाघाट दशाश्वमेध घाट आदि स्थानों पर हुए आतंकी हमलों का सिलसिलेवार उल्लेख करते हुए कहा कि इस सभी घटनाओं में पकड़े गए आतंकियों के खिलाफ चार्जशीट दायर होने के बावजूद कोर्ट से रिहा कराने के लिए समाजवादी पार्टी की सरकार ने जी तोड़ कोशिश की लेकिन अदालत ने सपा के मंसूबों को पूरा नहीं होने दिया। अदालत को सपा सरकार के खिलाफ तल्ख टिप्पणी तक करनी पड़ी कि आतंकियों के खिलाफ मुकदमे वापस लेना कौन सा जनहित है। अब आतंकियों की पैरवी की बजाय सख्ती हो रही है तो अलग अलग घटनाओं में फांसी से लेकर उम्र कैद तक की सजा सुनाई गई है।
उन्होंने कहा कि 18 मई 2013 को कोर्ट ले जाते वक्त एक आतंकी की अत्यधिक गर्मी से मौत होने पर अखिलेश यादव ने उनके, पूर्व डीजीपी विक्रम सिंह समेत 42 पुलिसकर्मियों पर हत्या का मुकदमा दर्ज करा दिया था। संदेश साफ था कि तुष्टीकरण की राजनीति के लिए सपा किसी भी हद तक जा सकती।
बृजलाल ने कहा कि अतीक अहमद, मुख्तार अंसारी, विजय मिश्रा, डीपी यादव जैसे माफियाओं को संरक्षण व माननीय बनाने का काम भी समाजवादी पार्टी ने ही किया। वोट की राजनीति के लिए ददुआ और ठोकिया जैसे डकैतों के परिवार को भी सपा ने ही माननीयों वाली कुर्सियां दीं।
एक दौर तक एमपी, एमएलए, ब्लॉक प्रमुख, प्रधान के चुनाव में इन डकैतों की ही चलती थी लेकिन योगी सरकार में ऐसी हरकत करने की हिम्मत किसी मे नहीं है।
पूर्व डीजीपी ने कहा कि सीएम योगी के शासन में अपराधियों की दो हजार करोड़ रुपये से अधिक की अवैध संपत्ति जमींदोज कर दी गई है। बड़े बड़े अपराधी बिलों में छिप गए हैं। इस चुनाव में बटला हाउस कांड में शामिल एक आतंकी का परिजन खुलेआम समाजवादी पार्टी का प्रचार कर रहा है लेकिन जनता जंगलराज कायम करने के सपा के मंसूबों को कामयाब नहीं होने देगी।
राज्यसभा सांसद बृजलाल ने दावा किया कि सपा सरकार ने ही दलितों का सबसे अधिक शोषण किया है। जबकि योगी आदित्यनाथ के नेतृत्व वाली भाजपा सरकार ने सबका साथ – सबका विकास के मूल भावना पर चलते हुए 43 लाख आवासों का निर्माण कराया जिसमें सर्वाधिक दलित और मुस्लिमों को आवास आवंटित हुए है।
दलित वर्ग योगी आदित्यनाथ के शासन में ही अपने आप को सर्वाधिक सुरक्षित महसूस कर रहा है इसलिए दलित वर्ग के लोग भाजपा के साथ आए हैं. और भाजपा पूर्ण बहुमत के साथ उत्तर प्रदेश में सरकार बनाने जा रही है।
(मीडिया प्रभारी–भाजपा चुनाव कार्यालय गोरखपुर)